तुम्हे देखा सपने में,
आंचल हवा मे लहराते हुये,
बात करते हुये चन्दा से,
बादल केशो का उडाते हुये,
तुम्हे देखा सपने में,
मुझे इशारे से बुलाते हुये,
देखकर मेरे बढते कदम,
किसी डर से घबराते हुये,
तुम्हे देखा सपने में,
कुछ सोचकर शर्माते हुये,
दांतो मे दबाते अधरों को,
मंद मंद मुस्काते हुये,
तुम्हे देखा सपने में,
कलाई मुझसे छुडाते हुये,
भावना का संसार सजाकर
पलको को झुकाते हुये,
तुम्हे देखा सपने में,
बांहो को फॆलाते हुये,
उठाकर बोझिल पलकों को,‘
मुझे सीने से लगाते हुये,
तुम्हे देखा सपने में,
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